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बिना खाद सिर्फ पानी के सहारे 40 दिन में 5 गुना फायदा देगी ये फसल 100 में से 99 लोग नहीं जानते ये बात

अगर आप भी खेती से बढ़िया कमाई करना चाहते हैं तो श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती आपके लिए एक शानदार विकल्प है। इस किस्म की सबसे बड़ी खासियत ये है कि हरी पत्तियों की कटाई के बाद भी बीज का उत्पादन होता है। यानी एक ही फसल से हरा धनिया भी बिकेगा और बीज भी, मतलब डबल कमाई। ऊपर से बाज़ार में इसकी अच्छी माँग और कीमत मिलती है।

टाइफाइड डेंगू टेकते है इसके सामने घुटने, विटामिन का पूरा खजाना ऐसा जादुई फल,खेती से किसान कमा रहे हैं लाखों

खेत की तैयारी और बीज की बुवाई

श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती के लिए दोमट और अच्छी जल निकासी वाली ज़मीन सबसे बेहतर मानी जाती है। खेत को पहले गहराई से जुताई करें और उसमें अच्छी मात्रा में गोबर की खाद मिलाएं। बुवाई से पहले बीज का उपचार करना ज़रूरी है, ताकि रोगों से बचाव हो सके। एक बार बुवाई हो जाए तो 60 से 70 दिन में फसल तैयार हो जाती है।

देखभाल और सिंचाई का तरीका

इस धनिया किस्म को बहुत ज़्यादा पानी की ज़रूरत नहीं होती, पर समय पर हल्की सिंचाई ज़रूरी है। बुवाई के 7-10 दिन बाद पहली सिंचाई और फिर जरूरत के हिसाब से हर 15-20 दिन में पानी देना चाहिए। फसल को रोगों से भी अच्छी प्रतिरोधक क्षमता मिली हुई है, जिससे किसान का खर्च कम होता है।

कमाई का अंदाज़ा

अगर आप एक हेक्टेयर में श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती करते हैं, तो आपको लगभग 1.3 से 1.5 टन उपज मिल सकती है। इसका बाज़ार भाव अच्छा होने के कारण आप लाखों रुपए की कमाई कर सकते हैं। इस किस्म की खेती करके आप कम लागत में ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं।

बिना खाद सिर्फ पानी के सहारे 40 दिन में 5 गुना फायदा देगी ये फसल 100 में से 99 लोग नहीं जानते ये बात

अगर आप भी खेती से बढ़िया कमाई करना चाहते हैं तो श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती आपके लिए एक शानदार विकल्प है। इस किस्म की सबसे बड़ी खासियत ये है कि हरी पत्तियों की कटाई के बाद भी बीज का उत्पादन होता है। यानी एक ही फसल से हरा धनिया भी बिकेगा और बीज भी, मतलब डबल कमाई। ऊपर से बाज़ार में इसकी अच्छी माँग और कीमत मिलती है।

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खेत की तैयारी और बीज की बुवाई

श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती के लिए दोमट और अच्छी जल निकासी वाली ज़मीन सबसे बेहतर मानी जाती है। खेत को पहले गहराई से जुताई करें और उसमें अच्छी मात्रा में गोबर की खाद मिलाएं। बुवाई से पहले बीज का उपचार करना ज़रूरी है, ताकि रोगों से बचाव हो सके। एक बार बुवाई हो जाए तो 60 से 70 दिन में फसल तैयार हो जाती है।

देखभाल और सिंचाई का तरीका

इस धनिया किस्म को बहुत ज़्यादा पानी की ज़रूरत नहीं होती, पर समय पर हल्की सिंचाई ज़रूरी है। बुवाई के 7-10 दिन बाद पहली सिंचाई और फिर जरूरत के हिसाब से हर 15-20 दिन में पानी देना चाहिए। फसल को रोगों से भी अच्छी प्रतिरोधक क्षमता मिली हुई है, जिससे किसान का खर्च कम होता है।

कमाई का अंदाज़ा

अगर आप एक हेक्टेयर में श्री चन्द्रहासिनी धनिया-2 की खेती करते हैं, तो आपको लगभग 1.3 से 1.5 टन उपज मिल सकती है। इसका बाज़ार भाव अच्छा होने के कारण आप लाखों रुपए की कमाई कर सकते हैं। इस किस्म की खेती करके आप कम लागत में ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं।

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