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गेहूं बेचने सरकार ने बढाई पंजीयन की तारीख, अब 10 तारीख तक हो सकेगा रजिस्ट्रेशन 

भोपाल, रबी फसलों की कटाई का काम शुरू होने वाला है ऐसे में किसान समय पर अपने गेहूं की उपज मंडियों में बेच सकें इसके लिए राज्य सरकारों के द्वारा किसानों के पंजीयन कराए जा रहे हैं। मध्य प्रदेश सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीद के लिए रजिस्ट्रेशन की तारीख को आगे बढ़ा दिया है। पहले किसानों को 5 मार्च तक रजिस्ट्रेशन करवाने का वक्त दिया गया था, लेकिन अब इसे 10 मार्च कर दिया गया है। ऐसे में उन किसानों को लाभ होगा जो किन्ही कारणों से अभी तक अपनी फसल का पंजीयन नहीं करा पाए हैं। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के निदेशक दीपक सक्सेना ने किसानों से समय पर अपना रजिस्ट्रेशन करवाने की अपील की है।

जानिए कैसे करें पंजीयन
गेहूं को न्यूनतम समर्थन मूल्य पर बेचने के लिए दो प्रकार से पंजीयन किया जा सकता है। उपार्जन के लिए पंजीयन की नि:शुल्क एवं सशुल्क दोनों ही व्यवस्था रखी गई है। नि:शुल्क व्यवस्था में किसान स्वयं के मोबाईल से निर्धारित लिंक mpeuparjan.nic.in पर, ग्राम एवं जनपद पंचायत, तहसील एवं सहकारी समिति के सुविधा केंद्रों पर जाकर नि:शुल्क पंजीयन करा सकते हैं।

एम.पी. ऑन लाईन, लोकसेवा केंद्र से अपना पंजीयन करा सकेंगे
ऐसे किसान जो स्वयं पंजीयन नहीं करा सकते, वे कियोस्क के माध्यम से अधिकतम शुल्क 50 रूपये देकर एम.पी. ऑन लाईन या कॉमन सर्विस सेंटर, लोकसेवा केंद्र अथवा निजी साइबर कैफे के माध्यम से अपना पंजीयन करा सकेंगे। इस व्यवस्था से अब उन्हें लंबी लाइनों में इंतजार नहीं करना होगा। सिकमी एवं बटाईदार एवं वन पटटाधारी किसान केवल सहकारी समिति स्तर पर स्थित पंजीयन केंद्रों पर ही पंजीयन करा सकेंगे।

एसएमएस की अनिवार्यता को समाप्त, आधार नंबर वेरिफिकेशन अनिवार्य 
पंजीयन करने और फसल बेचने के लिए आधार नंबर का वेरिफिकेशन अनिवार्य होगा। वेरिफिकेशन आधार नंबर से लिंक मोबाईल नंबर पर प्राप्त ओटीपी या बायोमेट्रिक डिवाईस से किया जा सकेगा। पंजीयन के लिए अनिवार्य होगा कि भू–अभिलेख में दर्ज खाते एवं खसरे में दर्ज नाम का मिलान आधार कार्ड में दर्ज नाम से होगा। साथ ही मध्यप्रदेश सरकार ने इस वर्ष उपार्जन केंद्र पर जाकर फसल बेचने के लिए एसएमएस की अनिवार्यता को समाप्त कर दिया है। अभी तक किसान एसएमएस पर प्राप्ति तिथि पर ही अपनी फसल उपार्जन केंद्र पर बेच सकता थे। परिवर्तित व्यवस्था में निर्धारित पोर्टल से नजदीक के उपार्जन केंद्र, तिथि और समय स्लॉट का स्वयं चयन कर सकेंगे। स्लॉट का चयन उपार्जन प्रारंभ होने की तिथि से एक सप्ताह पूर्व तक किया जा सकेगा।

गेहूं बेचने सरकार ने बढाई पंजीयन की तारीख, अब 10 तारीख तक हो सकेगा रजिस्ट्रेशन 

भोपाल, रबी फसलों की कटाई का काम शुरू होने वाला है ऐसे में किसान समय पर अपने गेहूं की उपज मंडियों में बेच सकें इसके लिए राज्य सरकारों के द्वारा किसानों के पंजीयन कराए जा रहे हैं। मध्य प्रदेश सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीद के लिए रजिस्ट्रेशन की तारीख को आगे बढ़ा दिया है। पहले किसानों को 5 मार्च तक रजिस्ट्रेशन करवाने का वक्त दिया गया था, लेकिन अब इसे 10 मार्च कर दिया गया है। ऐसे में उन किसानों को लाभ होगा जो किन्ही कारणों से अभी तक अपनी फसल का पंजीयन नहीं करा पाए हैं। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के निदेशक दीपक सक्सेना ने किसानों से समय पर अपना रजिस्ट्रेशन करवाने की अपील की है।

जानिए कैसे करें पंजीयन
गेहूं को न्यूनतम समर्थन मूल्य पर बेचने के लिए दो प्रकार से पंजीयन किया जा सकता है। उपार्जन के लिए पंजीयन की नि:शुल्क एवं सशुल्क दोनों ही व्यवस्था रखी गई है। नि:शुल्क व्यवस्था में किसान स्वयं के मोबाईल से निर्धारित लिंक mpeuparjan.nic.in पर, ग्राम एवं जनपद पंचायत, तहसील एवं सहकारी समिति के सुविधा केंद्रों पर जाकर नि:शुल्क पंजीयन करा सकते हैं।

एम.पी. ऑन लाईन, लोकसेवा केंद्र से अपना पंजीयन करा सकेंगे
ऐसे किसान जो स्वयं पंजीयन नहीं करा सकते, वे कियोस्क के माध्यम से अधिकतम शुल्क 50 रूपये देकर एम.पी. ऑन लाईन या कॉमन सर्विस सेंटर, लोकसेवा केंद्र अथवा निजी साइबर कैफे के माध्यम से अपना पंजीयन करा सकेंगे। इस व्यवस्था से अब उन्हें लंबी लाइनों में इंतजार नहीं करना होगा। सिकमी एवं बटाईदार एवं वन पटटाधारी किसान केवल सहकारी समिति स्तर पर स्थित पंजीयन केंद्रों पर ही पंजीयन करा सकेंगे।

एसएमएस की अनिवार्यता को समाप्त, आधार नंबर वेरिफिकेशन अनिवार्य 
पंजीयन करने और फसल बेचने के लिए आधार नंबर का वेरिफिकेशन अनिवार्य होगा। वेरिफिकेशन आधार नंबर से लिंक मोबाईल नंबर पर प्राप्त ओटीपी या बायोमेट्रिक डिवाईस से किया जा सकेगा। पंजीयन के लिए अनिवार्य होगा कि भू–अभिलेख में दर्ज खाते एवं खसरे में दर्ज नाम का मिलान आधार कार्ड में दर्ज नाम से होगा। साथ ही मध्यप्रदेश सरकार ने इस वर्ष उपार्जन केंद्र पर जाकर फसल बेचने के लिए एसएमएस की अनिवार्यता को समाप्त कर दिया है। अभी तक किसान एसएमएस पर प्राप्ति तिथि पर ही अपनी फसल उपार्जन केंद्र पर बेच सकता थे। परिवर्तित व्यवस्था में निर्धारित पोर्टल से नजदीक के उपार्जन केंद्र, तिथि और समय स्लॉट का स्वयं चयन कर सकेंगे। स्लॉट का चयन उपार्जन प्रारंभ होने की तिथि से एक सप्ताह पूर्व तक किया जा सकेगा।

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